7 CHAKRA–RUDRAKSHA (सप्त चक्र–रुद्राक्ष) BRACELET
- The 7 Chakra–Rudraksha Bracelet is a spiritually powerful and energetically harmonizing accessory that combines the sacred Rudraksha bead with seven vibrant chakra stones—each representing one of the body’s main energy centers.
- This bracelet helps align and activate the seven chakras, while the Rudraksha offers protection, grounding, and a deep connection to Lord Shiva.
- Wearing it promotes emotional balance, mental clarity, spiritual awakening, and a steady flow of energy throughout the body.
- It is highly beneficial for those engaged in meditation, Reiki, yoga, or spiritual sadhana, helping eliminate blockages and increase inner awareness.
- This bracelet supports both energetic healing and divine protection, making it ideal for seekers on a path of holistic well-being and self-discovery.
7 चक्र–रुद्राक्ष ब्रेसलेट (सप्त चक्र–रुद्राक्ष ब्रेसलेट)
- 7 चक्र–रुद्राक्ष ब्रेसलेट एक अत्यंत पावन और ऊर्जावान रत्न है, जिसमें रुद्राक्ष की शक्ति और सात चक्रों के रंग-बिरंगे रत्नों का संयोजन होता है, जो शरीर की ऊर्जा को संतुलित और सक्रिय करता है।
- यह ब्रेसलेट सातों चक्रों को संतुलित करता है, और रुद्राक्ष की दिव्य ऊर्जा से मानसिक, भावनात्मक और आध्यात्मिक सुरक्षा प्रदान करता है।
- इस ब्रेसलेट को धारण करने से चिंता, तनाव, ऊर्जा रुकावट और नकारात्मकता दूर होती है, और जीवन में सकारात्मकता, आत्मिक जागरूकता और ऊर्जा प्रवाह आता है।
- यह विशेष रूप से ध्यान, योग, रेकी, और साधना करने वालों के लिए अत्यंत प्रभावशाली है, क्योंकि यह ऊर्जा चिकित्सा और आध्यात्मिक मार्गदर्शन दोनों में सहायक होता है।
- यह ब्रेसलेट रोग प्रतिरोधक क्षमता, मानसिक संतुलन और चक्र ऊर्जा के लिए श्रेष्ठ माना जाता है।
मूल मंत्र
ॐ नमः शिवाय।
(या)
ॐ ह्रीं हौं नमः।
प्रमुख रत्न : रुद्राक्ष + 7 चक्र रत्न (एमेथिस्ट, लैपिस, ब्लू एवेंट्युराइन, ग्रीन एवेंट्युराइन, पीला जैस्पर, कार्नेलियन, रेड जैस्पर)
धारण विधि : सोमवार या किसी भी शुभ दिन प्रातः स्नान कर स्वच्छ वस्त्र पहनें। ब्रेसलेट को गंगाजल से शुद्ध करें, धूप-अगरबत्ती दिखाकर ऊपर दिए मंत्र का 11 बार जाप करें और श्रद्धा से धारण करें।
मंत्र :
ॐ नमः शिवाय।
श्लोक
चक्रे चक्रे स्थिता शक्तिः रुद्राक्षे शिवतेजसा।
यत्र योगिनो लभंते तत्र सिद्धिर्न संशयः।।
– योग तंत्र
इस श्लोक में कहा गया है कि जब चक्र और शिवशक्ति का संतुलन होता है, तब साधक को सिद्धि और शांति निश्चित रूप से प्राप्त होती है — यही इस ब्रेसलेट की शक्ति है।
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